वाराणसी। Gyanvapi-शृंगार गौरी मामले में गुरुवार को जिला जज अजय कृष्ण विश्वेश की अदालत में सुनवाई हुई। ठीक 2 बजे शुरू हुई सुनवाई दोपहर साढ़े 3 बजे तक चली। इस दौरान मस्जिद में मिले कथित शिवलिंग की कार्बन डेटिंग पर बहस हुई। इसमें जहां वादिनी राखी सिंह के वकील कार्बन डेटिंग न कराये जाने की मांग की तो वहीँ वादी संख्या 2 से 5 तक के अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने ASI से कार्बन डेटिंग या साइंटफिक जांच करवाकर उसकी प्राचीनता का पता लगाने की गुहार लगायी, जिसपर कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखते हुए अगली तारीख अक्टूबर दी है।
इस सम्बन्ध में अधिवक्ता अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने बताया कि आज हमने एप्लिकेशन दी थी कोर्ट में कि जो कमीशन के दौरान 16 मई 2022 को मस्जिद के वजूखाने में जो शिवलिंग मिला है उसकी कार्बन डेटिंग या साइंटिफिक जांच करवाए। ASI के द्वारा एक कमीशन जारी किया जाए ऑर्डर 26 रूल 10-A सीपीसी में कोर्ट को यह राईट है कि वह साइंटफिक कमीशन करवा सकता है और इसमें ASI एक्सपर्ट है तो कोर्ट इसपर 7 अक्टूबर को फैसला देगा।
वहीं राखी सिंह के अधिवक्ता शिवम गौंड के द्वारा कार्बन डेटिंग के विरोध करने पर अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने बताया कि आज कोर्ट में मुस्लिम पक्ष ने राखी सिंह के अधिवक्ता के ही शब्दों को इस्तेमाल किया। उन्होंने कहा हमने सिर्फ कार्बन डेटिंग की बात नहीं कि बल्कि एक मैथेड बताया है। इसके अलावा हमने एप्लिकेशन में साइंटिफिक मैथेड भी लिखा है।