Chaitra Navratri 2023 : 22 मार्च बुधवार से चैत्र नवरात्रि (Chaitra Navratri) के पावन पर्व की शुरुआत हो रही है और समापन 30 मार्च को होगा। इन दिनों लोग मां दुर्गा के 9 स्वरूपों की आराधना करते हैं। वहीं माता का आगमन और प्रस्थान किस वाहन पर होगा ये भी विशेष महत्वपूर्ण होता है, क्योंकि माता का वाहन शुभ−अशुभ फल का सूचक भी होता है। इसका प्रभाव मानव जीवन पर भी देखने को मिलता है। इस चैत्र नवरात्र मां दुर्गा नाव पर सवार होकर आएगी। आइए जानते है इसका क्या संकेत होगा।
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, चैत्र में शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि यानि नवरात्रि के पहले दिन मां दुर्गा गणेश जी, भगवान कार्तिकेय समेत अपने परिवार के साथ पृथ्वी लोक पर पधारती हैं। पृथ्वी लोक मातारानी का मायका है। वे यहां पर पूरी नवरात्रि रहती हैं और फिर दिन के अनुसार, अपनी सवारी पर विराजमान होकर प्रस्थान कर जाती हैं।
इस वाहन पर सवार होकर आएगी मां दुर्गा
बता दें कि, इस साल मां दुर्गा का आगमन नौका पर हो रहा है। दिन के अनुसार, मां दुर्गा की सवारी का निर्धारण होता है। जब भी बुधवार से नवरात्रि की शुरुआत होती है तो मां दुर्गा पृथ्वी पर नौका पर सवार होकर आती हैं।
कैसे तय होती है मां दुर्गा की सवारी
देवी भागवत पुराण में बताया गया है कि नवरात्रि के समय में दिन अनुसार मां दुर्गा के आगमन की सवारी क्या होती है। इसके बारे में श्लोक है कि शशि सूर्य गजरुढा शनिभौमै तुरंगमे। गुरौशुक्रेच दोलायां बुधे नौकाप्रकीर्तिता॥ इसके अनुसार, सूर्य यानि रविवार और शशि यानि चंद्रमा अर्थात् सोमवार को नवरात्रि शुरु होती है तो मां दुर्गा की सवारी हाथी होती है।
शनिवार और मंगलवार को नवरात्रि का आगाज होता है तो मातारानी की सवारी घोड़ा होता है। संस्कृत में घोड़े को तुरंग कहते हैं. गुरुवार या शुक्रवार के दिन नवरात्रि का प्रारंभ होगा तो मां दुर्गा की सवारी डोली होगी और बुधवार को मां दुर्गा की सवारी नौका होती है।
मां दुर्गा का नौका पर आगमन के शुभ संकेत
इस साल चैत्र नवरात्रि बुधवार को शुरु हो रही है, इसलिए मां दुर्गा की सवारी नौका है। जब मातारानी नौका पर सवार होकर आती हैं तो यह मनुष्यों के लिए शुभ संकेत होता है। मां दुर्गा की कृपा भक्तों को प्राप्त होगी और उनकी मनोकामनाएं भी पूर्ण होंगी।
हाथी पर प्रस्थान करेंगी मां दुर्गा
जिस प्रकार मातारानी के आगमन की सवारी होती है, वैसे ही प्रस्थान की भी सवारी होती है। यह भी शुभ-अशुभ का सूचक होता है। ऐसे में इस साल चैत्र नवरात्रि का समापन 31 मार्च शुक्रवार को पारण वाले दिन होगा। ऐसे में मां दुर्गा हाथी पर सवार होकर प्रस्थान करेंगी। हाथी की सवारी को शुभ संकेत माना जाता है। मां दुर्गा के हाथी पर प्रस्थान का मतलब है कि उस समय में अच्छी बारिश की संभावना होगी।
चैत्र नवरात्रि शुभ मुहूर्त (Chaitra Navratri 2023 Shubh Muhurat)
चैत्र नवरात्रि घटस्थापना का मुहूर्त सुबह 06 बजकर 24 मिनट से लेकर सुबह 07 बजकर 31 मिनट तक रहेगा। इस समय घट स्थापित कर सकते हैं।
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